रविवार, 7 मार्च 2021

सोनागिर की महिलाओं द्वारा निर्मित बरी, पापड़ ग्वालियर व्यापार मेले में सैलानियों को खूब भा रहे है

ग्वालियर व्यापार मेले में आने वाले सैलानियों को दतिया जिले के महिला स्व-सहायता समूह द्वारा निर्मित बरी, पापड़ों का स्वाद खूब भा रहा है। मेले में लगे स्व-सहायता समूह के स्टॉल पर समूह की महिलाओं द्वारा निर्मित बडी एवं पापड़ खूब बिक रहे है। बडी, पापड़ खरीदने वाले सैलानियों का कहना है कि समूह द्वारा जो पापड़ बेचे जा रहे है वह मसालों से भरपूर स्वादिष्ठ है। सैलानियों ने बताया कि काली मिर्ची से निर्मित पापड़ का तो स्वाद ही निराला है।
    दतिया जिले की सोनागिर की जय माता रतनगढ़ वाली महिला स्व-सहायता समूह द्वारा ग्वालियर व्यापार मेले में बरी, पापड़ का 5 नम्बर का स्टॉल लगाया है। समूह की अध्यक्ष श्रीमती शशि जैन ने बताया कि मेले में लगाए गए स्टॉल पर बड़ी संख्या में सैलानी आकर उनके समूह द्वारा निर्मित बरी एवं पापड़ के बारे में जानकारी लेकर खरीद कर ले जा रहे है। उन्होंने बताया कि उनके समूह की महिलाओं द्वारा मूंग की दाल को हाथ से पीसकर, मसाले मिलाकर पापड़ एवं बरी बनाती है। मसाले के रूप में लाल एवं काली मिर्ची, लहसन, जीरा एवं हल्के नमक का उपयोग करते है। उन्होंने बताया की काली मिर्च से निर्मित पापड़ सैलानियों को खूब भा रहे और वह इनको खरीद कर ले जा रहे है। पापड़ 160 रूपये प्रति किलो जबकि बरी 200 रूपये प्रतिकिलो के हिसाब से बिक्री हो रही है। उन्होंने बताया कि समूह को बैंक लिंकेज के माध्यम से यूको बैंक सोनागिर से 1 लाख रूपये का ऋण प्राप्त हुआ। जबकि 12 हजार रूपये चक्रीय राशि के रूप में सहायता भी मिली। इस राशि से बरी, पापड़ का व्यवसाय वर्ष 2016 में शुरू किया। इस व्यवसाय से 12 महिलाओं को रोजगार मिल रहा है। कोरोना संक्रमण से पहले बरी, पापड़ व्यवसाय से समूह की प्रत्येक महिला को 8 से 9 हजार रूपये की आय हो रही थी। लेकिन कोरोना का प्रभाव उनके बरी, पापड़ व्यवसाय पर भी पड़ा जिससे महिलाओं को अभी चार से से पांच हजार रूपये की आय हो रही है। जो धीरे-धीरे बढ़ भी रही है। उन्होंने बताया किया सोनागिर जैन धर्म का बड़ा धार्मिक स्थल होने के कारण बड़ी संख्या में श्रृद्धालु आते है वह भी यहां से बड़ी मात्रा में बरी एवं पापड़ खरीद कर ले जाते है। इससे भी समूह को आय हो रही है। एनआरएलएम की जिला प्रबंधक श्रीमती शंतमती खलको ने बताया कि शुरू में महिलाओं को आत्म निर्भर बनाने हेतु स्व-सहायता समूह गठित करने की प्रेरणा एवं प्रशिक्षण देकर स्व-सहायता समूह गठित कराया गया। समूह की महिला सदस्यों को बरी, पापड़ हेतु बैंक से एक लाख का ऋण भी दिलाया। इस राशि से समूह की महिलाओं द्वारा गांव में ही बरी पापड़ का व्यवसाय शुरू कर दिया। बरी, पापड़ की गुणवत्ता को देखते हुए ग्वालियर व्यापार मेले में भी इनकी मांग बढ़ी है। इससे महिलाओं में काफी खुशी है।

                                                     (अनूप सिंह भारतीय)
                                                        उपसंचालक   
                                          जनसम्पर्क दतिया

 

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